साभार: भास्कर समाचार
केंद्र सरकार के नीति आयोग की तरफ से रोहतक जिले सहित पूरे हरियाणा प्रदेश में 62 अटल टिकरिंग लैब खोलने की प्रक्रिया पूरी कर ली है। सरकारी प्राइवेट स्कूलों को आवंटित की गई इन लैब में गणित, विज्ञान
इंजीनियरों की नर्सरी तैयार की जाएगी। इस लैब का उद्देश्य छठी से 12वीं कक्षा के छात्रों को औजार और उपकरणों के बेहतर उपयोग की जानकारी देना है।लैब काे पांच साल में नीति आयोग की तरफ से 20 लाख रुपए का बजट उपलब्ध कराया जाएगा, ताकि लैब में प्रशिक्षण लेने वाले विद्यार्थियों को इंफ्रास्ट्रक्चर पर्याप्त संसाधन उपलब्ध कराए जा सकें। कक्षा छह से बारहवीं तक के छात्र-छात्राओं में रचनात्मक, गुणात्मक वैज्ञानिक विकास के लिए केंद्र सरकार ने महत्वपूर्ण पहल की है। इसके तहत पूरे भारत में अटल टिंकरिंग लैब की स्थापना की जा रही है। अटल टिंकरिंग लेबोरेट्री का उद्देश्य औजार उपकरणों के बेहतर उपयोग की जानकारी के साथ ही स्टीम विषयों मसलन साइंस टेक्नोलॉजी, इंजीनियरिंग गणित विषयों की बेहतर समझ छात्रों में रचनात्मक दृष्टिकोण विकसित करना है। उल्लेखनीय है कि केंद्र सरकार विद्यार्थियों को बेहतर संसाधन उपलब्ध कराकर उनका भविष्य संवारने को लेकर प्रयास कर रहा है। इससे छात्र तकनीकी रूप से मजबूत होंगे।
रोहतक के डीपीएस, एमडीएन समेत पांच स्कूलों में मिलेगी सुविधा: चयनित सूची के अनुसार रोहतक जिले में संचालित दिल्ली पब्लिक स्कूल, एमडीएन पब्लिक स्कूल, शिक्षा भारती विद्यालय, शिक्षा भारती सीनियर सेकेंडरी स्कूल आर केपी स्कूल में अटल टिकरिंग लैब की सुविधा उपलब्ध होगी। जींद रोड स्थित दिल्ली पब्लिक स्कूल के प्रिंसिपल हेक्टर रवींद्र दत्त राम नगर स्थित शिक्षा भारती स्कूल की प्रिंसिपल ममता ने बताया कि केंद्र सरकार की योजना के तहत जिले के 5 स्कूलों में अटल टिकरिंग लैब का संचालन किया जाएगा। योजना का उद्देश्य बच्चों की जिज्ञासा को रचनात्मक ढंग से बढ़ावा देने युवा वर्ग के मन में विभिन्न योजनाओं की अनुकूलनीय सीख को बढ़ावा देना है।
हरियाणा में सिर्फ सांघी के राजकीय संस्कृति मॉडल स्कूल में है लैब: अभीतक हरियाणा के एकमात्र सरकारी स्कूल राजकीय मॉडल संस्कृति सीनियर सेकंडरी स्कूल सांघी में अटल टिकरिंग लैब का संचालन हो रहा है। प्रिंसिपल जयपाल दहिया ने बताया कि अभी तक हमारे स्कूल को लैब के लिए 11 लाख रुपए मिल चुके हैं। लैब में विद्यार्थियों को रोबोट बनाने सहित अन्य इंजीनियरिंग साइंस टेक्नोलॉजी से संबंधित विषयों के बारे में प्रयोग के जरिए बताया जा रहा है। इस लैब में एसी, कम्प्यूटर, थ्री डी प्रिंटर, प्रोजेक्टर, वाईफाई सहित अन्य कई सुविधाएं उपलब्ध है।
ऐसे मिलेगा बजट: चयनित विद्यालय को एकमुश्त अनुदान के रूप में 10 लाख की राशि दी जाएगी। इसके उपरांत 10 लाख रुपए प्रत्येक प्रयोगशाला के संचालन के लिए अगले 5 वर्ष में उपलब्ध कराए जाएंगे।
लैब के लिए किस जिले से कितने स्कूल चुने:
अम्बाला-1, भिवानी-08, फरीदाबाद-5, गुड़गांव-3, हिसार-2, झज्जर-3, जींद-9, करनाल-2, कुरुक्षेत्र-2, महेंद्रगढ़-4, पंचकूला-2, पानीपत-3, रेवाड़ी-5, रोहतक-5, सिरसा-5, सोनीपत-3