Sunday, January 7, 2018

लालू यादव मामला: दोषियों को पशुपालन का अनुभव, ओपन जेल में गोपालन कराएं - जज

साभार: भास्कर समाचार
950 करोड़ रु. के चारा घोटाले से जुड़े एक और केस में बिहार के पूर्व सीएम लालू प्रसाद यादव को साढ़े तीन साल जेल की सजा हो गई। शनिवार को जारी फैसले में सीबीआई कोर्ट ने लालू पर 10 लाख रु. जुर्माना भी लगाया है।
देवघर ट्रेजरी से 89.27 लाख रु. अवैध तरीके से निकालने के 21 साल पुराने मामले में यह सजा सुनाई गई है। विशेष सीबीआई जज शिवपाल सिंह ने चुटकी लेते हुए कहा, 'चूंकि दोषियों को पशुपालन का काफी अनुभव है, इसलिए इन्हें ओपन जेल में भेजकर परिजनों के साथ गोपालन करवाया जाए।' 69 साल के लालू को चारा घोटाले के दूसरे मामले में सजा हुई है। इससे पहले चाईबासा ट्रेजरी से 37.70 करोड़ रु. निकालने के मामले में 30 सितंबर, 2013 को पांच साल की सजा हुई थी। उस मामले में सुप्रीम कोर्ट से जमानत तो मिल गई थी, पर सजा के चलते संसद सदस्यता छिन गई और वह चुनाव लड़ने के लिए अयोग्य हो गए। लालू पर चारा घोटाले के 3 और केस हैं। इनमें दुमका, चाईबासा डोरंडा ट्रेजरी के केस हैं। चारा घोटाले के कुल 55 मामलों में से 33 में फैसला हो चुका है।
जेल से जारी की चिट्‌ठी, कहा- आंखों में उंगली डालकर बात करना जानता हूं: मैं आंखों में आंख नहीं, जरूरत पड़ने पर आंखों में उंगली डालकर भी बात कर सकता हूं। जातिवाद और फासीवाद के पैरोकार आरएसएस के सामने लालू कभी नहीं झुका। देख रहे हैं कि कैसे पीएम, सीएम, इनकम टैक्स, सीबीआई और ईडी सहित कई जहरीले लोग पीछे लगे हैं। जनता की लड़ाई लड़ते हुए लालू तो बोलेगा, चाहे जितनी सजा दो। -लालू प्रसाद यादव 
38 आरोपी थे; 11 की मौत हो चुकी, 6 हुए बरी1990 से 1994 के बीच देवघर ट्रेजरी से 89.27 लख रु. निकाले। 27 अक्टूबर 1997 को 38 लोगों के खिलाफ चार्जशीट दाखिल हुई। इनमें 11 की मौत हो गई। 3 सरकारी गवाह बन गए। दो को गुनाह कबूलने के बाद 2006-07 में सजा हुई। 22 आरोपियों में से 6 को कोर्ट ने 23 दिसंबर को बरी कर दिया। इनमें पूर्व सीएम डाॅ. जगन्नाथ मिश्र भी शामिल थे।
10 को 3.5-3.5, 6 को 7-7 साल जेल: लालू सहित कुल 16 दोषियों को अदालत ने सजा सुनाई है। इनमें तीन पूर्व आईएएस अधिकारी, तीन नेता और आठ चारा सप्लायर भी शामिल हैं। लालू सहित 10 दोषियों को 3.5-3.5 साल और छह दोषियों को 7-7 साल जेल की सजा हुई है।
सजा 3 साल से ज्यादा, हाईकोर्ट से ही मिलेगी बेल: लालू सहित अन्य दोषी 23 दिसंबर से रांची की बिरसा मुंडा जेल में हैं। सजा 3 साल से ज्यादा होने के चलते इन्हें जमानत लेने हाईकोर्ट जाना पड़ेगा। अपील और जमानत याचिका में सात से 10 दिन लग सकते हैं। चाईबासा और दुमका ट्रेजरी से जुड़े दो मामलों में भी फरवरी के पहले हफ्ते तक फैसला संभावित है। ऐसे में लालू का जल्दी जमानत पर छूटना मुश्किल है।