Thursday, January 4, 2018

साईको किलर मामला: 5 लाख की आर्थिक मदद और डीसी रेट पर आश्रितों को नौकरी के आश्वासन के बाद परिजनों ने उठाए शव

साभार: भास्कर समाचार
सेना से रिटायर्ड लेफ्टिनेंट एवं मौजूदा कृषि अधिकारी नरेश धनखड़ ने मंगलवार को महिला समेत 6 अजनबियों की रॉड से हत्या कर दी थी। हत्याओं के बाद मंगलवार देर शाम तक मृतकों के परिजनों ने मुआवजे
नौकरी की मांग को लेकर शवों को नहीं लिया। बुधवार को अलग-अलग स्रोतों से पांच लाख रुपए मुआवजा देने की बात कहने पर मृतकों के परिजन शवों को लेने पर राजी हुए और अंतिम संस्कार किया। 
बुधवार सुबह जिला उपायुक्त मनीराम शर्मा एसपी सुलोचना गजराज ने सीएमओ कार्यालय में भाजपा इनेलो नेताओं के साथ एक-एक मृतक के परिजनों को अंदर बुलाकर बात की और सभी ने प्रशासन की तरफ से की जाने वाली मदद पर सहमति जाहिर करते हुए शवों को लेकर अंतिम संस्कार के लिए अपने-अपने गांव ले गए। हालांकि मृतकों के परिजनों ने 21-21 लाख रुपए की मांग की थी। 
तीन जगह से मिलेगी मददडीसी मनीराम शर्मा ने कहा कि सरकार और जिला प्रशासन की तरफ से मृतकों के आश्रितों को तीन-तीन लाख रुपए देने एक-एक सदस्य को डीसी रेट पर नौकरी देने की बात कही। वहीं, भाजपा जिलाध्यक्ष जवाहर सिंह सौरोत अन्य भाजपा नेताओं ने बताया कि मृतकों के परिजनों को एक-एक लाख रुपए मंत्री विपुल गोयल की तरफ से एवं एक-एक लाख रुपए सांसद कृष्णपाल गुर्जर की तरफ से दिए जाएंगे। 

डीसी की रिपोर्ट के बाद होगी आरोपी पर विभागीय कार्रवाई: कृषि विभाग के ज्वाइंट डायरेक्टर प्रशासन जगराज डांडी ने बताया कि हत्या आरोपी कृषि विभाग के एसडीओ नरेश धनखड़ पर विभागीय कार्रवाई भी होगी। विभाग ने पलवल डीसी से पूरे मामले की रिपोर्ट मांगी है। रिपोर्ट में उसके द्वारा इस मामले को अंजाम दिए जाने के साथ यह लिखा होता है कि 24 घंटे पुलिस हिरासत में रहा है तो उसे सस्पेंड किया जाएगा। डीसी से रिपोर्ट मांगी है। रिपोर्ट मिलने के बाद कार्रवाई की जाएगी। 
अलग-अलग समय शव ले गए परिजन: 
  • 5: 30 बजे मंगलवार शाम को अंजुम के शव को ले जाया गया। 
  • 2:30 बजे मंगलवार रात में सुभाष उर्फ शिव नाथ के शव को ले जाया गया। 
  • 2:20 बजे बुधवार को दोपहर बाद खेमचंद के शव को ले जाया गया। 
  • 2 : 30 बजे बुधवार को दोपहर बाद भिखारी के शव को नगर परिषद के ट्रैक्टर से भेजा गया। 
  • 2:50बजे बुधवार को दोपहर बाद सीताराम के शव को ले जाया गया। 
  • 3.15 बजे बुधवार की शाम को मुंशीराम के शव को ले जाया गया। 

30 घंटे जाम रहा पुराना जीटी रोड: मृतकों के परिजनों ने विरोध स्वरूप बुधवार को दोपहर में पुराने जीटी रोड पर जिला नागरिक अस्पताल के सामने बैठकर जाम लगा दिया। जाम खुलवाने पहुंची पुलिस जाम लगा रहीं महिलाओं में तीखी नोक-झोंक भी हुई, लेकिन बातचीत से करीब 30 घंटे लगे जाम को खुलवा दिया। बुधवार को जिला नागरिक अस्पताल परिसर से दोपहर बाद 3.20 बजे जब अलावलपुर निवासी मुंशीराम का शव निकला, तब जाकर जिला प्रशासन पुलिस विभाग ने राहत की सांस ली। वहीं जिला प्रशासन के अधिकारियों के साथ भारी पुलिस बल भी अस्पताल परिसर में तैनात रहा। जिला अस्पताल में जिला पुलिस अपराध जांच शाखा पुलिस के अलावा गुप्तचर विभाग की टीम भी पल-पल मामले पर नजर बनाए रखे रहे। 
आरोपी अस्पताल क्यों पहुंचा, नहीं खुला राज: पलवल अस्पताल को ही साइको किलर ने अपना पहला निशाना क्यों बनाया, इस बारे में अभी पुलिस को कोई भी जानकारी नहीं मिल सकी है। जबकि पुलिस साइको किलर की पत्नी ससुर को बुलाकर बात कर चुकी है, लेकिन वे भी इस बारे में पुलिस को कुछ नहीं बता सके। 
ओमेक्स सिटी से लाया था रॉड: ओमेक्स सिटी में चौकीदारी करने वाले ने नाम छापने की शर्त पर बताया कि वह सोमवार रात को ड्यूटी पर था। रात में करीब एक बजे नरेश धनखड़ अपने फ्लैट की तरफ से हाथ में रॉड लेकर आया और शहर की तरफ चला गया। इसके बाद उसे पता चला की नरेश ने 6 लोगों की हत्या कर दी है। जिसके डर से वह मंगलवार शाम को चौकीदारी करने भी नहीं गया।
आरोपी का ससुर और पत्नी बोली- ससुराल आकर करता था गाली-गलौज: मंगलवार को घटना के बाद एसपी कार्यालय पहुंचे रेवाड़ी रेंज के आईजी सीएस राव ने साइको किलर नरेश धनखड़ के ससुर कैप्टन धर्मपाल उसकी पत्नी सीमा को बुलाकर पूछताछ की। पत्नी ससुर ने कोई खास बात तो पुलिस को नहीं बताई, लेकिन कैप्टन धर्मपाल मलिक ने इतना जरूर बताया कि सीमा पिछले पांच वर्ष से उनके पास ही रहती है और अक्सर नरेश आकर उनके घर पर गाली-गलौच करता था। जिसके चलते वे परेशान रहते थे और जब नरेश उनके घर आता था तो वे अपने घर का दरवाजा नहीं खोलते थे। दरवाजा नहीं खोलने पर अक्सर नरेश गली में गाली-गलौच कर लौट जाता था। उनकी बेटी सीमा भी नरेश से डरती थी, क्योंकि अक्सर छोटी-छोटी बातों पर नरेश उसके साथ मारपीट करता था।
पलवल अस्पताल प्रबंधन स्टाफ पर हत्या का केस: पलवल अस्पताल प्रबंधन स्टाफ के खिलाफ हत्या का केस दर्ज होने के बाद अस्पताल में बुधवार को सन्नाटा पसरा रहा। बुधवार को अस्पताल के अंदर कोई दिखाई नहीं दिया। अस्पताल के मुख्यद्वार पर पुलिस कर्मचारी बैठे दिखाई दिए। अस्पताल के अंदर गए तो कोई मरीज था आैर कर्मचारी।