Sunday, February 21, 2016

जाट नेताओं के हाथ से फिसला आंदोलन और बदल गया उत्पात और उपद्रव में

अराजक हो रहे आरक्षण आंदोलन से बिगड़ रहे आपसी भाईचारे को बचाने के लिए अब जाट नेता भी सामने गए हैं। उन्होंने युवाओं से शांति कायम करने की अपील की है। अखिल भारतीय जाट आरक्षण संघर्ष समिति के राष्ट्रीय अध्यक्ष यशपाल मलिक ने कहा, 'जाट युवा उपद्रव से दूर रहें। मुज्जफरनगर के सहरम में खापों की
पंचायत में रविवार को 11 से एक बजे तक उत्तर प्रदेश बंद का आह्वान किया गया है। सरकार अध्यादेश लाए और ओबीसी कोटे में आरक्षण दे। आंदोलनकारी अपने आप घर लौट जाएंगे।' यह पोस्ट आप नरेशजाँगङा डॉट ब्लागस्पाट डॉट कॉम के सौजन्य से पढ़ रहे हैं। वहीं, समिति के प्रदेशाध्यक्ष हवासिंह सांगवान ने कहा, 'मेरे हाथ से आंदोलन 15 फरवरी को ही निकल गया था। युवाओं ने आंदोलन अपने हाथ में ले लिया। हमारी अपील है कि जाट समाज के लोग शांति बनाए रखें।' अखिल भारतीय आदर्श जाट महासभा के अध्यक्ष पवनजीत बनवाला ने कहा, 'आंदोलन को अराजकता में बदलना ठीक नहीं है। आरक्षण जरूर मिलेगा, लेकिन आपसी भाईचारा नहीं बिगड़ने देना चाहिए। अगर समाज में भाईचारा ही नहीं रहेगा तो आरक्षण का क्या करेंगे।'
संयुक्तजाट आरक्षण संघर्ष समिति के राष्ट्रीय अध्यक्ष एचपी सिंह परिहार ने कहा, 'आंदोलन को उपद्रव ना बनने दें। सभी दल कह रहे हैं कि हम जाट आरक्षण के पक्ष में हैं। ऐसे में सरकार ओबीसी के तहत आरक्षण देने की घोषणा करे।' जाट आरक्षण संघर्ष समिति के राष्ट्रीय अध्यक्ष कर्नल ओपी संधु ने कहा, '36 बिरादरी का सदियों का भाईचारा है। इसको बनाए रखें। जाट समाज के लोग संयम और शांति बनाए रखें। सरकार भी अपनी गलती सुधारे।'
Post published at www.nareshjangra.blogspot.com
साभार: भास्कर समाचार 
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