साभार: जागरण समाचार
पहले ही प्रयास में एंटी-सेटेलाइट (ए-सैट) मिसाइल का सफल परीक्षण कर अपनी क्षमता का डंका बजाने वाले भारत ने हफ्तेभर के भीतर अंतरिक्ष की दुनिया में एक और कदम बढ़ा दिया है। सोमवार को भारतीय अंतरिक्ष
अनुसंधान संगठन (इसरो) ने सैन्य सेटेलाइट ‘इलेक्ट्रो मैग्नेटिक इंटेलीजेंस सेटेलाइट’ (एमिसैट) का सफल प्रक्षेपण किया। 436 किलोग्राम के एमिसैट की खूबियों को देखते हुए इसे अंतरिक्ष में भारतीय जासूस की संज्ञा दी जा रही है। एमिसैट के साथ इसरो ने 28 विदेशी उपग्रहों को भी प्रक्षेपित किया। इसरो ने पहली बार एक साथ तीन अलग-अलग कक्षाओं में प्रक्षेपण का मिशन पूरा कर अपने नाम एक और उपलब्धि दर्ज कराई है। वर्धा में चुनावी रैली के दौरान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इसरो के वैज्ञानिकों को बधाई देते हुए इसे इसरो की ऐतिहासिक छलांग बताया। इसरो प्रमुख के. सिवन ने बताया कि पीएसएलवी सी-45 ने 27 घंटे की उलटी गिनती खत्म होते ही नारंगी रंग का धुआं छोड़ते हुए उड़ान भरी।