साभार: जागरण समाचार
केंद्रीय मंत्री बीरेंद्र सिंह की टीस एक बार फिर सामने आई। उन्होंने प्रदेश का सीएम बनने की ख्वाहिश फिर जाहिर की। उन्होंने कहा, अगर सीएम बनाओ तो चुनाव लड़ूं। हालांकि बाद में केंद्रीय मंत्री इस बात को मजाक
करार दिया। केंद्रीय मंत्री बीरेंद्र सिंह की टीस एक बार फिर सामने आई। उन्होंने प्रदेश का सीएम बनने की ख्वाहिश फिर जाहिर की। उन्होंने कहा, अगर सीएम बनाओ तो चुनाव लड़ूं। हालांकि बाद में केंद्रीय मंत्री इस बात को मजाक करार दिया।
सर छोटू राम विचार मंच की ओर से बीरेंद्र सिंह का 73वां जन्मदिन मनाया गया। हनुमान वाटिका में कार्यक्रम में उन्होंने कार्यकर्ताओं के साथ केक काटा। बीरेंद्र सिंह ने कहा कि उन्होंने हमेशा ईमानदारी की राजनीति की है। यहीं कारण है आज भी उनके साथी साथ में जुड़े हुए हैं। राजनीति में अपने आप को कभी बड़ा नहीं समझना चाहिए। जो ऐसा करता है राजनीति में ज्यादा दिनों तक नहीं टिक पाता है।
43 साल की राजनीति में किसानों के बारे में सोचा: उन्होंने अपनी 43 साल की राजनीति में हमेशा किसानों के हितों के लिए प्रयास किया। अब प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने किसानों के लिए छह हजार रुपये सालाना पेंशन शुरू की है। ऐसा फैसला आज तक किसी भी सरकार ने नहीं लिया। हमें जात-पात से ऊपर उठकर देशहित में काम करना चाहिए। सैनिकों का सम्मान करना चाहिए तभी हमारा देश तरक्की कर सकता है।
बोले, सीएम बनने का प्रयास किया सफल नहीं हो पाया: बीरेंद्र सिंह ने पत्रकारों से बातचीत की। मजाकिया लहजे में उन्होंने कहा कि अगर सीएम बनाते हो तो चुनाव लड़ लूंगा। उसके बाद उन्होंने कहा कि उनका चुनाव लड़ने का कोई इरादा नहीं है। 43 साल राजनीति में रहे और सीएम बनने का प्रयास भी किया, लेकिन सफल नहीं हो पाए। आज से दस साल पहले भाजपा नेताओं के लिए अंतिम विकल्प होती थी। पहले नेता कांग्रेस में जाने की सोचते उसके बाद इनेलो में उसके बाद बसपा में और अंत में भाजपा का नंबर आता था। अब हालात बदल गए हैं और नेताओं की पहली पसंद भाजपा बनी हुई है। अब इनेलो और कांग्रेस के दिग्गज नेता भाजपा में शामिल हो रहे हैं। सुरजेवाला का नाम लिए बिना कहा कि कैथल के एक नेता तो ऐसे हैं जो कार्यकर्ताओं को डरा कर राजनीति करते हैं।