साभार: जागरण समाचार
डेरा मैनेजर रणजीत सिंह की हत्या मामले में मुख्य गवाह व गुरमीत का पूर्व ड्राइवर खट्टा सिंह अब फिर से अपने बयान देना चाहता है। खट्टा सिंह ने शनिवार को अपने वकील नवकिरण सिंह के माध्यम से विशेष सीबीआइ
अदालत में याचिका लगाकर अपील की कि पहले डेरा प्रमुख के डर के कारण वह अपने बयान से मुकर गया था और कुछ नहीं बोल पाया, लेकिन अब उसे सजा होने के बाद वह हत्याकांड और डेरे से जुड़े सभी राज बताने को तैयार है।
खट्टा सिंह ने कहा कि गुरमीत राम रहीम को पंजाब, हरियाणा और राजस्थान सरकार से जेड सिक्योरिटी मिली हुई थी और उसके पास बड़े-बड़े नेता आते थे। ऐसे में वह डर गया था कि कहीं उसे भी पत्रकार रामचंद्र छत्रपति और रणजीत सिंह की तरह मरवा न दिया जाए। उसने बताया कि डेरे के अंधभक्त गुरमीत के इशारे पर कुछ भी कर सकते थे।
याचिका में कहा गया है कि अदालत अपनी पॉवर का प्रयोग करते हुए अंडर सेक्शन 311 सीआरपीसी के तहत उसे दोबारा रि-एग्जामिनेशन के लिए बुला सकती है। गौरतलब है कि खट्टा सिंह ने 21 जुलाई 2007 को तत्कालीन सीबीआइ डीआइजी एम. नारायणन के समक्ष अपना बयान दर्ज करवाया था। सीबीआइ ने दोनों हत्या के मामलों में आरोप पत्र दाखिल किया था। 22 जून 2007 को चंडीगढ़ में न्यायिक मजिस्ट्रेट के समक्ष भी अपना बयान दर्ज करवाया था।