हरियाणा में दसवीं और बारहवीं कक्षा के खराब
रिजल्ट के लिए प्रदेश सरकार ने पिछली सरकार को जिम्मेदार ठहराया था, लेकिन
बीते शैक्षिक सत्र के दौरान जिन टीचरों की कक्षाओं का पास रिजल्ट 50 फीसदी
भी नहीं रहा, उन्हें गर्मियों के अवकाश के दौरान रि-अपीयर होने वाले बच्चों
को पढ़ाने का जिम्मा तो सौंपा है, मगर इसके लिए टीचरों को बकायदा अर्जित
छुट्टी (अर्न्ड लीव) दी जाएंगी। यदि सिंतबर में होने वाली रि-अपीयर परीक्षा
में भी विद्यार्थी पास नहीं हो सके तो उनके लिए विशेष कक्षाएं अगले 31
मार्च तक जारी रहेंगी। इस प्रकार पढ़ाई में सुधार के नाम पर टीचरों को
फायदा ही मिलेगी। प्रदेश के शिक्षा मंत्री
रामबिलास शर्मा ने बीते माह दसवीं और बारहवीं का खराब रिजल्ट आते ही घोषणा
कर दी थी कि शिक्षा में व्यापक सुधार लाया जाएगा। रिजल्ट में जो
बच्चे
विभिन्न विषयों में रि-अपीयर हो सकते हैं, उन्हें स्कूलों में विशेष कोचिंग
की व्यवस्था की जाएगी। शिक्षा विभाग ने इस बाबत शनिवार को विशेष कोचिंग के
कार्यक्रम की घोषणा कर दी। इसके अनुसार, स्कूलों में गर्मियों की
छुट्टियों के दौरान इस साल स्पेशल कक्षाएं लगाई जाएंगी। स्कूल
वाइज प्रत्येक विषय के परीक्षा परिणाम को ध्यान में रखते हुए जिस विषय में
परिणाम 50 प्रतिशत से कम हैं, उनके अध्यापकों को गर्मियों की छुट्टियों
में विशेष कक्षाएं लगाकर रि-अपीयर होने वाले बच्चों को पढ़ाना होगा। ये
स्पेशल कक्षाएं एक से 30 जून तक स्कूल समय में सुबह 8 से दोपहर 2.30 बजे तक
लगाई जाएंगी।
सितंबर में पूरक परीक्षाएं: हरियाणा
में दसवीं और बारहवीं की पूरक परीक्षाएं आगामी सितंबर माह में होंगी। एक
से 30 जून तक विशेष कक्षाओं के बाद टीचरों को पूरक परीक्षाएं शुरू होने के
कम से कम 15 दिन पहले तक कोर्स भी समाप्त कराना होगा। स्पेशल कोचिंग पूरक
परीक्षाओं का परिणाम घोषित होने के बाद भी लगाई जाएंगी। अगर विद्यार्थी
पूरक परीक्षा भी पास नहीं पाए तो विशेष कक्षाएं अगले साल 31 मार्च तक जारी
रहेंगी।
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साभार: अमर उजाला समाचार
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