भारत और पाकिस्तान के बीच रुकी हुई द्विपक्षीय सीरीज के फिर से शुरू होने की संभावना नहीं है। सरकार के के बाद दोनों देशों के बोर्डो के बीच सोमवार को हुई बैठक बिना किसी नतीजे के खत्म हुई। भारत में हुए आतंकी
हमले के बाद राजनीतिक तनाव के चलते 2012 से रुकी हुई दोनों चिर प्रतिद्वंद्वियों के बीच द्विपक्षीय सीरीज की संभावना को खेल मंत्री विजय गोयल के नकारने के बाद दोनों बोर्डो ने अपनी टीमों के मुकाबलों को लेकर सोमवार को दुबई में बैठक की। गोयल ने स्पष्ट किया कि जब तक ‘सीमा पार आतंक’ रुक नहीं जाता तब तक सरकार इसके लिए अपनी सहमति नहीं देगी। खेल मंत्री की ओर से जारी बयान के बाद दुबई में बैठक का आयोजन महत्वहीन था। हालांकि, बीसीसीआइ ने पहले भी कई बार कहा था कि सिर्फ सरकार की अनुमति मिलने के बाद ही पाकिस्तान के साथ अलग से द्विपक्षीय सीरीज का आयोजन हो सकता है। यह पोस्ट आप नरेशजाँगङा डॉट ब्लागस्पाट डॉट कॉम के सौजन्य से पढ़ रहे हैं। बीसीसीआइ के संयुक्त सचिव अमिताभ चौधरी ने एक संक्षिप्त बयान जारी कर कहा, ‘बीसीसीआइ का दल और पीसीबी ने सोमवार को बैठक की और अपनी स्थितियों को साझा किया। बैठक सौहार्दपूर्ण माहौल में आयोजित की गई और उसका परिणाम उसके संबंधित बोर्ड और सदस्यों के साथ साझा किए जाएंगे।’ चौधरी के साथ सीईओ राहुल जौहरी और जीएम (क्रिकेट संचालन) एमवी श्रीधर ने बैठक में बीसीसीआइ का प्रतिनिधित्व किया। इस दौरान पाकिस्तान द्वारा 2015 से 2023 के दौरान पांच द्विपक्षीय सीरीज के एमओयू का सम्मान नहीं करने पर बीसीसीआइ से मांगे गए 60 मिलियन डॉलर (करीब 387 करोड़ रुपये) के मुआवजे पर भी चर्चा की गई।
आर्थिक संकट से गुजर रहा पीसीबी अपनी स्थिति को सुधारने के लिए काफी हद तक भारत के सीरीज पर निर्भर करता है। पाकिस्तान ने 2009 में लाहौर में श्रीलंकाई टीम की बस पर हुए हमले के बाद से किसी प्रमुख देश के खिलाफ अपने यहां किसी द्विपक्षीय सीरीज का आयोजन नहीं किया है। 1बीसीसीआइ से जुड़े एक सूत्र ने कहा, ‘खेल मंत्री के सोमवार के बयान के बाद पाकिस्तान के खिलाफ सीरीज कि संभावना नहीं है। हमने पीसीबी को कहा कि जब तक सरकार की इजाजत नहीं मिल जाती हम यूएई जैसे तटस्थ स्थलों पर भी नहीं खेल नहीं सकते हैं।’ फिलहाल भारत, पाकिस्तान के साथ सिर्फ आइसीसी टूर्नामेंट में ही खेलेगा।
बीसीसीआइ को पाकिस्तान को कोई भी प्रस्ताव देने से पहले सरकार से बात करनी चाहिए। मैं यह स्पष्ट कर चुका हूं कि जब तक सीमा पार आतंक नहीं रुक जाता है तब तक पाकिस्तान के साथ द्विपक्षीय सीरीज संभव नहीं है। खेल और आतंकवाद एक साथ नहीं चल सकते हैं। जहां तक कई टीमों की स्पर्धाओं (आइसीसी के टूर्नामेंट) की बात है तो हमारा उन पर कोई नियंत्रण नहीं है।1विजय गोयल, केंद्रीय खेल मंत्री
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साभार: जागरण समाचार
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