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शिक्षा विभाग के नए फरमान ने पहली से आठवीं कक्षा
तक के बच्चों को असमंजस में डाल दिया है। अब तक सेमेस्टर आधार पर परीक्षा
देते आ रहे बच्चों को इस बार पूरे सिलेबस से वार्षिक परीक्षा देनी होगी।
सेमेस्टर आधार पर तैयारी कर रहे बच्चे मार्च माह में संभावित परीक्षाओं के
लिए एक साथ दोनों सेमेस्टर की तैयारी को लेकर तनाव ग्रस्त हो गए हैं। उधर,
नए फरमान से शिक्षकों को भी रिजल्ट की चिंता सताने लगी है। सत्र के मध्य
में किए गए इस बदलाव से
शिक्षक संगठनों में भी आक्रोश है। हरियाणा
विद्यालय शिक्षा बोर्ड से संचालित सभी स्कूलों में पहली से आठवीं तक का
कोर्स दो सेमेस्टर में बंटा हुआ है। अप्रैल से सितंबर तक पहला और अक्तूबर
से मार्च तक दूसरा सेमेस्टर संचालित होता आ रहा है और अब तक इसी पैटर्न पर
परीक्षाएं भी कराई जाती रही हैं। यानि प्रत्येक छह माह पर होने वाली
परीक्षा में बच्चों को संबन्धित सेमेस्टर की ही तैयारी करनी होती थी। अब तक
स्कूल स्तर पर भी आठवीं कक्षा का परिणाम सेमेस्टर अनुसार तैयार किया जाता
रहा है। मगर इस बार शिक्षा विभाग ने इसमें
फेरबदल कर दिया है। बीते 31 दिसंबर को विभाग के पत्र क्रमांक जीओ
नं.1/2014/5980 में उल्लेख किया गया है कि मार्च में होने वाली वार्षिक
परीक्षा में केवल द्वितीय सेमेस्टर की बजाए प्रश्न पत्र पूर्ण सिलेबस से
आएगा। यह प्रश्न पत्र शिक्षा निदेशालय से भेजा जाएगा। इस नए फरमान के बाद
बच्चों के साथ शिक्षक भी चिंतित हो गए हैं। सत्र के अंतिम दिनों में हुए
बदलाव के बाद पूरे सिलेबस की तैयारी करना बच्चों के लिए परेशानी भरा हो गया
है।
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साभार: अमर उजाला समाचार
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