गर्मी के मौसम में आम आदमी की जरूरतों में भी इजाफा हो जाता है। यानी
गर्मी जितनी तेज होगी जाती है फ्रिज, कूलर, एसी (AC) उसकी जरूरत की लिस्ट
में शामिल हो जाते हैं। हालांकि, आम आदमी के लिए बजट काफी मायने रखता है।
ऐसे में जरूरी है कि जब वो खासकर AC खरीदने जा रहा है तो उससे जुड़ी कई
बातें पता हों। यानी उसकी जरूरत के हिसाब से AC कैसा हो।
कितनी कैपेसिटी
वाला हो। बिजली की खपत कितनी करेगा। विंडो, स्प्लिट या पोर्टेबल हो। सबसे
जरूरी की कितनी कीमत में आए। आज हम आपको नया AC खरीदने खरीदने से जुड़ी ऐसी कई अहम बातें बता रहे हैं। जिन्हें
जानने के बाद आप अपनी जरूरत के हिसाब से अच्छा AC खरीद सकते हैं। - साइज (Size): नया AC खरीदते समय सबसे जरूरी है उसका साइज। किसी भी रूम और हॉल के हिसाब से AC का चयन बहुत आवश्यक होता है। हालांकि, साइज का मतलब AC के बड़े या छोटे होने से नहीं है, बल्कि उसकी कैपेसिटी कितनी है इस बात पर निर्भर होता है। ये इसलिए जरूरी है कि आपने बड़े हॉल या जगह पर एक छोटा (कम कैपेसिटी वाला) AC लगा दिया तो वो कई घंटे तक चलने के बाद भी उस जगह को ठंडा नहीं कर पाएगा। ऐसे में बिजली की खपत तो होगी ही, उसकी कीमत भी जाया चली जाएगी।
- कैपेसिटी (Capacity): किसी भी कमरे के लिए AC की कैपेसिटी काफी मायने रखती है। स्क्वायर फीट के हिसाब से अगर आपका कमरा 90 Sqft से छोटा है तो आपके लिए 0.8 टन का AC भी पर्याप्त है। वहीं, 90-120 Sqft वाली जगह के लिए 1.0 टन का AC, 120-180 Sqft जगह के लिए 1.5 टन का AC और 180 Sqft से बड़ी जगह के लिए 2.0 टन का AC होना जरूरी होता है। AC को अलग-अलग स्क्वायर फीट के हिसाब से बनाया जाता है, ताकि वो कमरे को ठंडा रखने में कामयाब रहे।
- बिजली की खपत (Power consumption): AC खरीदने के लिए दूसरी सबसे जरूरी बात ये है कि उससे बिजली की खपत कितनी होगी। AC लगाने से पहले इस बात का पूरा ध्यान रखना चाहिए, क्योंकि महीने के अंत में जो बिजली बिल आएगा वो आपकी जेब पर भारी पड़ सकता है। ऐसे में AC खरीदते समय स्टार का ध्यान रखें। दरअसल, अब किसी भी इलेक्ट्रोनिक सामान पर स्टार रेटिंग दी होती है। जो इस बात को दर्शाती है कि उससे कितनी बिजली की खपत होगी। यानी स्टार जितने ज्यादा बिजली की खपत उतनी कम। हालांकि, 4-5 स्टार वाले AC की कीमत थोड़ी ज्यादा हो ता है, लेकिन बिजली बिल को ध्यान में रखते हुए ये सबसे बेहतर होते हैं।
- विंडो, स्प्लिट या पोर्टेबल (window split and portable): विंडो - एक समय मार्केट में सिर्फ विंडो AC आया करते थे, लेकिन अब स्प्लिट और पोर्टेबल AC के ऑप्शन भी मौजूद है। हालांकि, इन तीनों वेरिएंट में अलग-अलग खूबियां होता हैं। विंडो AC स्प्लिट और पोर्टेबल AC की तुलना में कम कीमत में आ जाता है, लेकिन ये सबसे ज्यादा आवाज करता है। हालांकि, छोटे कमरे और सिंगल रूम के लिए ये बेस्ट होता है। स्प्लिट - दूसरी तरफ, स्प्लिट AC की सबसे खास बात ये है कि इसके कंपोनेंट को बाहर इंस्टॉल किया जा सकता है। एयर फ्लो ज्यादा होने के कारण ये बड़े हॉल में भी बेहतर काम करता है। वॉल पर टंगने के बाद ये खूबसूरत भी नजर आता है, लेकिन कीमत के मामले में ये विंडो से महंगा होता है। पोर्टेबल - मार्केट में अब पोर्टेबल AC का चलन बढ़ रहा है। इसकी सबसे बड़ी खूबी ये है कि इसे सुविधा अनुसार कमरे में कहीं भी शिफ्ट किया जा सकता है। सबसे अहम बात ये है कि इस इन्स्टॉल करने का झंझट नहीं है।
- फिल्टर, एयर फ्लो, स्विंग (filter, airflow, swing): फिल्टर - किसी भी AC में अच्छा फिल्टर होना बहुत जरूरी है, क्योंकि फिल्टर अच्छा होने से सांस लेने में आसानी होती है। जिस कमरे में AC लगाया जाता है उसके वेंटिलेशन को बंद कर दिया जाता है। ऐसे में सांस लेने के लिए फिल्टर बहुत जरूरी हो जाता है। एयर फ्लो - एयर फ्लो ये बताता है कि आपका AC कितनी देर में कमरा ठंडा कर सकता है। AC में कूलिंग स्पीड को फिक्स करने की सुविधा होना बहुत जरूरी है। ताकि कम समय में आप कमरे को ठंडा कर सकें। हालांकि, अब ज्यादातर कंपनियां इस फीचर्स को देने लगी हैं। स्विंग - AC में स्विंग विंग्स या फीचर्स का होना भी बहुत जरूरी है। दरअसल, जिन AC में मल्टी फीचर्स स्विंग होगा वो कमरे के हर कोन में हवा दे सकेंगे। इस फीचर्स से कमरा भी जल्दी ठंडा होता है।
- टाइमर और सेंसर (timer and sensor): AC खरीदते समय इस बात का भी ध्यान रखें कि उसमें टाइम और सेंसर हो। दरअसल, टाइमर फीचर्स की मदद से आप उसे फिक्स समय पर ऑटोमैटिक ऑन और ऑफ कर सकते हैं। इसका सबसे बड़ा फायदा बिजली की खपत को रोकना है। इसके साथ, AC एक अन्य शानदार फीचर है। सेंसर का काम कमरे के तापमान को फिक्स करना होता है। साथ ही, ये ह्यूमन को फोकस करके हवा देता है।
- वोल्टेज स्टैबलाइजर (voltage stabilizer): AC के साथ वोल्टेज स्टैबलाइजर का होना बहुत जरूरी है। इसके लिए यूजर्स जितने टन का AC खरीद रहा है उतने ही पावर वाला स्टैबलाइजर भी होना चाहिए। अगर आपका AC 0.5-0.8 टन का है तो इसके साथ 2KVA का स्टैबेलाइजर सही रहेगा। 1.0 टन से 1.2 टन के AC के लिए 3KVA का, 1.2-1.6 टन के AC के लिए 4KVA का, 2.0-2.5 टन AC के लिए 5KVA और 3 टन से अधिक क्षमता वाले AC के लिए 6KVA का स्टैबेलाइजर होना चाहिए।
- ब्रांड (Brand): जब भी आप किसी प्रोडक्ट को खरीदने जा रहे हैं तो उसकी ब्रांड काफी अहम हो जाती है। मार्केट में अब कई ब्रांड के AC आ रहे हैं। ऐसे में आप चार-पांच पॉपुलर ब्रांड के उन AC की कीमत में तुलना करें जो खरीदना चाहते हैं। साथ ही, उसकी वारंटी पर भी ध्यान दें। ऐसा करने पर आप अपने लिए बेस्ट AC चुन पाएंगे।
- कलर्स (colors): किसी भी इलेक्ट्रोनिक आइटम को खूबसूरत बनाने का काम कलर करता है। ऐसे
में AC अच्छे कलर का होना बहुत जरूरी है। विंडो AC में यूजर्स को कलर ऑप्शन
कम मिलते हैं। दूसरी तरफ, पोर्टेबल AC में भी कलर सीमित है, लेकिन स्प्लिट
AC कई कलर्स में आते हैं। स्प्लिट AC ऊंचाई पर फिट किया जाता है, जहां से
उसकी सफाई करना थोड़ा मुश्किल हो जाता है। ऐसे में स्प्लिट AC डार्क कलर
में खरीदना चाहिए। ये जल्दी गंजा नजर नहीं आता।
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साभार: भास्कर समाचार
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