Tuesday, September 6, 2016

अमिताभ बच्चन की पोती और नातिन को चिट्ठी: किसी को ये एहसास न होने देना की तुम्हारी स्कर्ट की लम्बाई से तुम्हारा चरित्र जांचा जा सकता है

अमिताभबच्चन ने पोती आराध्या और नातिन नव्या के नाम चिट्‌ठी लिखी है। इसमें बेटियों के लिए जीने का सबक है, तो बड़ों के लिए बच्चियों को बंदिशों में बांधने की नसीहत भी। नव्या 18 साल की हैं। वह अमिताभ की पुत्री श्वेता बच्चन और निखिल नन्दा की बेटी हैं। जबकि 4 साल की आराध्या अभिषेक और ऐश्वर्या की बेटी हैं।
अमिताभ ने फेसबुक पर पत्र और उसका वीडियो जारी किया है। और लिखा है कि 'यह खत इसलिए लिख रहा हूं क्योंकि यह सिर्फ तुम्हारे लिए नहीं बल्कि सभी ग्रैंड डॉटर के लिए है।' अमिताभकी चिट्‌ठी जस की तस... 
नमस्ते आराध्या, मैं नहीं जानता ये तुम कब पढ़ोगी, लेकिन ये 2016 में मेरी सोच है। 
नव्या नवेली, हैलो, नमस्ते। मैंने तुम दोनों को एक चिट्‌ठी लिखी है। और वही मैं पढ़कर सुना रहा हूं। मैं इसे इंटरनेट पर भी डालूंगा। क्योंकि मुझे लगता है ये चिट्‌ठी सिर्फ तुम दोनों के लिए नहीं बल्कि हर ग्रैंड डॉटर के लिए है। ठीक है... 
मायवेरी डियरेस्ट नव्या और आराध्या, 
तुमदोनों के नाजुक कंधों पर बेहद अहम विरासत की जिम्मेदारी है। आराध्या, अपने परदादा जी डॉ. हरिवंश राय बच्चन और नव्या अपने परदादा जी श्री एचपी नंदा की विरासत संभाल रही हैं। तुम दोनों के परदादाओं ने तुम्हारे मौजूदा पारिवारिक नामों (surname) को पहचान, सम्मान और शोहरत दी। तुम दोनों नंदा या बच्चन हो सकती हो, लेकिन तुम लड़कियां भी हो, महिला...! और चूंकि तुम महिला हो, लोग अपनी सोच, अपनी सीमाएं तुम पर थोपेंगे...। वे तुम्हें बताएंगे कि तुम्हें कैसी पोशाक पहननी चाहिए। तुम्हें कैसे बर्ताव करना चाहिए, तुम्हें किससे मिलना चाहिए, तुम्हें कहां जाना चाहिए। पर लोगों के फैसलों की छाया में रहना। अपनी समझ से अपने फैसले खुद करना। 
किसी को भी तुम्हें यह एहसास मत दिलाने देना कि तुम्हारी स्कर्ट की लंबाई से तुम्हारे चरित्र को जांचा या मापा जा सकता है। तुम्हें किससे दोस्ती करनी चाहिए, इसे लेकर किसी भी और की सलाह से अपने दोस्त तय नहीं करना...। शादी सिर्फ इसी वजह से करना, क्योंकि तुम ऐसा करना चाहती हो, किसी भी और वजह से नहीं। लोग बातें करेंगे... वे बहुत बुरी बातें भी कहेंगे... लेकिन इसका अर्थ यह नहीं है कि तुम्हें सबकी सुननी होगी। कभी इस बात की चिंता मत करना- लोग क्या कहेंगे...! आखिरकार, तुम्हें ही अपने फैसलों का अच्छा-बुरा परिणाम भुगतना होगा। सो किसी भी और को अपने फैसले मत करने देना...। 
नव्या तुम्हारे नाम और पारिवारिक नाम से जो पहचान हासिल है, वह तुम्हें उन परेशानियों से नहीं बचा सकतीं, जिनका सामना तुम्हें महिला होने के नाते करना होगा। पर नकारात्मकता से खुद को हताश मत करने देना। क्योंकि इंसान में बहुत-सी अच्छाइयां भी हैं। आराध्या जब तक तुम इस खत को पढ़ने और समझने लायक होगी, तब तक मैं शायद यहां रहूं। लेकिन मेरी समझ कहती है कि जो कुछ भी मैं कह रहा हूं, वह तब भी प्रासंगिक होगा। महिलाओं के लिए इस दुनिया में जीना बहुत-बहुत मुश्किल हो सकता है, लेकिन मुझे विश्वास है कि तुम जैसी महिलाएं ही इन हालात को बदल डालेंगी। 
तुम्हारे लिए अपनी सीमाएं तय करना, अपने फैसले खुद करना, लोगों के फैसलों को नकारकर ऊपर उठना आसान नहीं होगा। लेकिन तुम... तुम सारी दुनिया की महिलाओं के लिए उदाहरण प्रस्तुत कर सकती हो। ऐसा कर दिखाओ। और तुम्हारी उपलब्धि मेरी सभी उपलब्धियों से कहीं ज्यादा साबित होंगी। और यह मेरे लिए बेहद सम्मान की बात होगी कि मैं अमिताभ बच्चन के तौर पर नहीं, तुम्हारे दादा और नाना के रूप में जाना जाऊं। विद्ऑल माय लव 
तुम्हारा दादा और तुम्हारा नाना... 

Post published at www.nareshjangra.blogspot.com
साभार: भास्कर समाचार 
For getting Job-alerts and Education News, join our Facebook Group “EMPLOYMENT BULLETIN” by clicking HERE. Please like our Facebook Page HARSAMACHAR for other important updates from each and every field.