कमजोरनेत्र क्षमता वाले विद्यार्थियों के लिए भारत सरकार के सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता मंत्रालय ने लार्ज प्रिंट बुक भेजी है। इस पुस्तक में अक्षरों की छपाई बड़े आकार की है, जिससे कमजोर नेत्र क्षमता विद्यार्थी आसानी से पुस्तक को पढ़ सकते हैं। पुस्तक पहली से 12वीं कक्षा तक के विद्यार्थियों के लिए उपलब्ध होगी।
यह पोस्ट आप नरेशजाँगङा डॉट ब्लागस्पाट डॉट कॉम के सौजन्य से पढ़ रहे हैं। इसके लिए विभिन्न स्कूलों के मुखियाओं को उक्त पुस्तकों के बारे अवगत करवाया गया है, ताकि उनके स्कूल में कमजोर नेत्र क्षमता वाले विद्यार्थियों को ये पुस्तकें उपलब्ध करवाई जा सकें। हालांकि अभी तक किसी भी स्कूल मुखिया ने उक्त पुस्तक को लेकर आईईडी में डिमांड नहीं की है। रतिया खंड में कुल 300 अशक्त विद्यार्थी हैं, जिनमें नेत्रहीन, कमजोर नेत्र क्षमता, बहरापन, गूंगापन, विकलांग श्रेणी के विद्यार्थी शामिल हैं। इनमें से 266 विद्यार्थी खंड के विभिन्न सरकारी स्कूलों आईईआर में पढाई कर रहे हैं। खंड के करीब 97 स्कूलों में ऐसे विद्यार्थियों के लिए अलग से टीचरों की व्यवस्था है। कमजोर नेत्र क्षमता वाले विद्यार्थियों के लिए जो पुस्तकें भेजी हैं, उनमें विद्यार्थी अक्षरों को आसानी से देखकर पढ़ सकते हैं। इस बारे में आईईडी के रिसोर्स रूम इंचार्ज मुनीम कुमार निहाल सिंह ने बताया कि कमजोर नेत्र क्षमता वाले विद्यार्थियों के लिए लार्ज प्रिंट बुक शुरू की गई है। इस पुस्तक की छपाई का आकार काफी बड़ा है। जिससे कम नेत्र क्षमता वाले विद्यार्थी आसानी से पढ़ सकते हैं।
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साभार: भास्कर समाचार
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