हरियाणा प्रदेश भाजपा विधायक दल कोर ग्रुप की गुरुवार को दिल्ली में अहम बैठकें हुईं। दोनों अलग-अलग बैठकों में कई सांसद विधायक सरकार पर जमकर बरसे। कई सांसदों ने सरकार को प्रभावहीन बताया। पहले हुई
विधायक दल की मीटिंग के दौरान दो धड़े बन गए। एक धड़ा सरकार की कार्यप्रणाली, बेलगाम अफसरशाही और भ्रष्टाचार से जुड़े मामलों के सबूत-शिकायतें लेकर पहुंचा। यह पोस्ट आप नरेशजाँगङा डॉट ब्लागस्पाट डॉट कॉम के सौजन्य से पढ़ रहे हैं। वहीं दूसरा धड़ा सीएम के पक्ष में इन असंतुष्ट विधायकों के खिलाफ सबूत के साथ खड़ा हो गया। हालांकि इस बैठक में सीएम मनोहरलाल खुद नहीं थे। लेकिन उनकी पैरवी करने वाले विधायकों का आरोप था कि निजी हित पूरा कर पाने वाले विधायक ही सरकार पर आरोप लगा रहे हैं। करीब दो घंटे तक चली इस मीटिंग में सिर्फ एक बात पर ही सर्वसम्मति बन पाई कि कोई भी विधायक मीडिया के सामने ऐसी कोई बात नहीं करेगा जिससे सरकार की छवि कमजोर हो। भाजपा के राष्ट्रीय सह महामंत्री वी सतीश, प्रदेश अध्यक्ष सुभाष बराला और प्रदेश संगठन मंत्री सुरेश भट्ट ने विधायकों से बातचीत की। सभी विधायक पूरी तैयारी के साथ पहुंचे थे। सरकार को सदन से लेकर सार्वजनिक तौर पर घेरते रहे विधायकों ने बोलना शुरू किया तो उनकी भी घेराबंदी शुरू हो गई। ग्वाल पहाड़ी जमीन का मसला उठाने वाले गुड़गांव विधायक उमेश अग्रवाल पर ही आरोप लग गया कि वे अपने निजी हितों को लेकर ऐसा कर रहे हैं। उनकी नाराजगी की वजह सिग्नेचर टावर के नजदीक खुद के पेट्रोल पंप की एनओसी नहीं मिलना बताया गया। इस पर अग्रवाल ने सफाई दी कि अभी तक उन्होंने सीएम को ऐसी कोई फाइल नहीं दी जिसमें उनका खुद का हित छिपा हो। वे जांच कराने के लिए तैयार हैं। इसी तरह दक्षिण हरियाणा के दो असंतुष्ट विधायकों पर भी आरोप लगे। एक पर धारूहेड़ा के सेक्टर 7ए में ओपन स्पेस की जमीन को रिहायश की स्वीकृति मिलने और दूसरे पर एक गांव में वेयर हाउसिंग बनाकर हैफेड से हुए अनुबंध को अचानक रद्द किए जाने की वजह को नाराजगी की असल वजह बताया गया। रेवाड़ी से विधायक रणधीर सिंह कापड़ीवास ने कहा कि सरकार में राजनीतिक और प्रशासनिक भ्रष्टाचार खत्म होना चाहिए। इसके लिए वे खामोश नहीं रहेंगे, क्योंकि हमारी जवाबदेही जनता के प्रति है। एक विधायक ने यहां तक कह दिया कि सीएम ईमानदार हैं, लेकिन उनके आसपास की लॉबी में भ्रष्टाचार की गंगा बहा रही है। ऐसे में सीएम खुद को कैसे बचा सकते हैं। एक विधायक ने कहा कि उमेश अग्रवाल के आरोप सही थे, इसीलिए ग्वाल पहाड़ी की जमीन को सरकार ने फटाफट अपने कब्जे में लिया। दक्षिण हरियाणा के चार से ज्यादा विधायकों ने संगठन के पदाधिकारियों को संबंधित आरोपों की फाइल भी दी। नाराज विधायकों ने कहा- हमारी सरकार पर नौकरशाही हावी है। कांग्रेस की हुड्डा सरकार में मौज लेने वाले आईएएस और आईपीएस अफसर अब भी मनमर्जी चला रहे हैं।
असंतुष्टों ने की अलग बैठक: विधायक दल की बैठक में जाने से पहले दर्जनभर विधायकों ने गुड़गांव विधायक उमेश अग्रवाल के कक्ष में अलग से बैठक की। इसमें केंद्रीय मंत्री बीरेंद्र सिंह की विधायक पत्नी प्रेमलता, संतोष सारवान, विमला चौधरी, मूलचंद शर्मा, रणधीर कापड़ीवास, नरेश कौशिक, विक्रम ठेकेदार, सुखविंदर माढ़ी शामिल रहे।
घुड़सवार मजबूत तो घोड़ा दौड़ता: अगर घुड़सवार मजबूत हो तो घोड़ा भी दौड़ता है। मुख्यमंत्री ने अधिकारियों पर नकेल नहीं लगाई तो जनता विधायकों को गांवों में घुसने तक नहीं देगी। - रणधीरकापड़ीवास, रेवाड़ी विधायक
पूर्व सरकार के नेताओं के ही काम: हमारी सरकार में हमारे कहने से काम कम होते हैं जबकि पूर्व सरकार के नेताओं के कहने से अभी भी काम हो रहे हं। - बिमला चौधरी, पटौदी विधायक
पूर्व सरकार के नेताओं के ही काम: हमारी सरकार में हमारे कहने से काम कम होते हैं जबकि पूर्व सरकार के नेताओं के कहने से अभी भी काम हो रहे हं। - बिमला चौधरी, पटौदी विधायक
विधायकोंसे मुलाकात के बाद वी सतीश ने मुख्यमंत्री मंत्रिमंडल से मुलाकात की। बैठक का अंतिम दौर देर शाम पार्टी के सभी सांसदोंं कोर कमेटी के सदस्यों के साथ हुआ। कोर कमेटी में भी कई सांसदों ने अपनी नाखुशी जाहिर की है। इन सांसदों का कहना था कि सरकार कार्यकर्ताओं को अहमियत नहीं मिल रही। राज्य में सिर्फ घोषणाएं हो रही हैं। पत्थर लग रहे हैं लेकिन कोई काम पूरा नहीं हुआ। सांसदों ने कहा कि ढाई बरस बीत गए लेकिन योजनाओं का लाभ अब तक जनता को नहीं मिला। कुछ सांसदों ने भ्रष्टाचार सुस्त प्रशासन की बात कहते हुए कहा कि तहसीलदार स्तर का अधिकारी अधिग्रहित की कई जमीन की रजिस्ट्रियां कर रहा है जबकि आम आदमी को 100 और 50 गज जमीन की रजिस्ट्री के लिए धक्के खाने पड़ रहे हैं। विधायकों सांसदों की इस राय को अब पार्टी अध्यक्ष अमित शाह तक पहुंचाया जाएगा, जिसके बाद वह आगे का निर्णय लेंगे।
मैं मुख्यमंत्री सरकार के साथ हूं, मुझे कोई नाराजगी भी नहीं, लेकिन ढाई साल की सरकार में एक डीसी का तबादला ही हो सका है। - घनश्याम सर्राफ, भिवानी
प्रदेश में भूमि पार्किंग घोटाला हुआ है। सरकार में भाजपा के विधायकों की सुनवाई नहीं होती तो आम जनता की समस्याओं का क्या होगा। - उमेश अग्रवाल, गुड़गांव विधायक
मैं मुख्यमंत्री सरकार के साथ हूं, मुझे कोई नाराजगी भी नहीं, लेकिन ढाई साल की सरकार में एक डीसी का तबादला ही हो सका है। - घनश्याम सर्राफ, भिवानी
प्रदेश में भूमि पार्किंग घोटाला हुआ है। सरकार में भाजपा के विधायकों की सुनवाई नहीं होती तो आम जनता की समस्याओं का क्या होगा। - उमेश अग्रवाल, गुड़गांव विधायक
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साभार: भास्कर समाचार
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