Friday, September 16, 2016

ट्रम्प अमेरिका के राष्ट्रपति बने तो भारत के फायदे की होगी उनकी विदेश नीति, पाकिस्तान के खिलाफ होंगे सख्त

अमेरिका में अगर रिपब्लिकन उम्मीदवार डोनाल्ड ट्रम्प राष्ट्रपति बनते हैं तो कारोबारी वजह से वे भारत के ज्यादा करीब रहेंगे और उनकी विदेश नीति पाकिस्तान के खिलाफ हो सकती है। अमेरिकी मैगजीन न्यूजवीक ने अपनी रिपोर्ट में लिखा है कि ट्रम्प ने भारतीय शहरों पुणे और गुड़गांव की रीयल एस्टेट परियोजनाओं में
निवेश किया है। अगर वे अगले साल जनवरी में अमेरिकी राष्ट्रपति पद संभालते हैं तो यह निश्चित ही उनकी विदेश नीति को प्रभावित करेगा। यह पोस्ट आप नरेशजाँगङा डॉट ब्लागस्पाट डॉट कॉम के सौजन्य से पढ़ रहे हैं। मैगजीन ने ट्रम्प के विदेश में निवेश पर कवर स्टोरी प्रकाशित की है। इसके मुताबिक जुलाई में हुई कन्वेंशन में ट्रम्प ऑर्गनाइजेशन ने ऐलान किया था कि वह सत्ता में आने पर दक्षिण एशियाई देों पर विशेष ध्यान देगी। मैगजीन के मुताबिक यह ट्रम्प के राष्ट्रपति बनने पर हितों के टकराव का खतरनाक उदाहरण हो सकता है। मैगजीन ने सवाल उठाया है कि अगर वे भारत के खिलाफ कड़ा रवैया अपनाते हैं तो क्या सरकार उन्हें ऐसे ही छोड़ देगी। 
वह उनके खिलाफ सख्त रवैया नहीं अपनाएगी? क्या पुणे ट्रम्प टावर के भागीदारों के खिलाफ जांच नहीं करवाएगी? और अगर वे पाकिस्तान के खिलाफ कड़ा रुख अपनाते हैं तो क्या वह अमेरिकी सामरिक हितों के खिलाफ नहीं होगा? या क्या उन्हें पुणे के ट्रम्प टावर में अड़ंगा डालने वाले अफसरों को संतुष्ट नहीं करना होगा? रिपोर्ट के मुताबिक ट्रम्प ने 2011 में भारत के प्रॉपर्टी डेवलपर रोहन लाइफस्केप्स से अपने नाम पर 65 मंजिला इमारत बनाने का करार किया था। रोहन की ओर से कंपनी के एक डायरेक्टर कल्पेश मेहता ने बातचीत की थी। मेहता बाद में भारत में ट्रम्प के बिजनेस के प्रतिनिधि बने। 
हिलेरी हो गई फिट: निमोनिया से पीड़ित डेमोक्रेट उम्मीदवार हिलेरी क्लिंटन के स्वस्थ्य में सुधार हो गया गया है। डॉक्टरों ने उन्हें फिट घोषित किया है। वे शुक्रवार से प्रचार शुरू करेंगी। 
Post published at www.nareshjangra.blogspot.com
साभार: भास्कर समाचार 
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